पहाड़ में हाड़ कंपाने वाली ठंड पड़ने लगी है। मौसम विज्ञानी इस बार ज्यादा ठंड पड़ने की संभावना जता चुके हैं, ऐसा ही हो भी रहा है। दिवाली के बाद हुई बारिश-बर्फबारी से ठिठुरन बढ़ गई है। हालांकि पिछले चार-पांच दिन से पहाड़ से लेकर मैदान तक धूप खिली है, लेकिन प्रदेश में आज से मौसम एक बार फिर करवट बदलेगा। उत्तराखंड के पर्वतीय जिलों में रविवार से फिर मौसम में बदलाव होने की संभावना है। मौसम विज्ञान केंद्र ने प्रदेश के पांच जिलों में अगले कुछ दिनों तक बारिश की संभावना जताई है। बर्फबारी भी हो सकती है। पहाड़ों में हुई बारिश-बर्फबारी से मैदानी इलाकों में भी ठिठुरन बढ़ेगी। नवंबर महीने में अभी तक प्रदेश में ज्यादातर जगह सूखी ठंड पड़ रही है। दिवाली के बाद चारधाम क्षेत्र समेत ऊंचे इलाकों में बर्फबारी हुई थी। दूसरे इलाकों में बारिश हुई, इसके बावजूद प्रदेश में अभी मौसम शुष्क बना हुआ है, हालांकि ये स्थिति ज्यादा समय तक बरकरार नहीं रहेगी। 22 नवंबर से प्रदेश में मौसम एक बार फिर करवट बदलेगा। तीन जिलों में बारिश और बर्फबारी की संभावना बन रही है। इन जिलों के बारे में भी जान लें।
ये 5 क्षेत्र हैं रुद्रप्रयाग, उत्तरकाशी और चमोली। यहां रहने वाले व्यक्तियों को निम्नलिखित चार-पांच दिनों के लिए सतर्क रहना चाहिए। मौसम विभाग ने इन इलाकों की ऊंची रेंज में बर्फबारी की आशंका जताई है। इसके अलावा, 23 और 25 नवंबर को पिथौरागढ़, बागेश्वर, उत्तरकाशी, चमोली और रुद्रप्रयाग क्षेत्रों में कुछ स्थानों पर हल्की बारिश या बर्फबारी होने का अनुमान है।
24 नवंबर को चमोली, पिथौरागढ़, उत्तरकाशी और रुद्रप्रयाग क्षेत्रों में विशेष रूप से उच्च ऊंचाई वाले क्षेत्रों में हल्की बारिश या बर्फबारी होने की संभावना है। राज्य के विभिन्न क्षेत्रों में जलवायु शुष्क रहेगी। किसी भी स्थिति में, वायरस शांत नहीं किया जाएगा। 26 नवंबर के बाद भी, दो-तीन दिनों में जलवायु में प्रगति की न्यूनतम संभावना है। कुमाऊं स्थान के बारे में चर्चा, यहाँ की अवधि का प्रमुख हिमपात पिथौरागढ़ के मुनस्यारी क्षेत्र में हुआ था। जिससे तापमान में गिरावट आई है। शनिवार को बेस तापमान एक डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था। चंपावत में ठंड का इसी तरह विस्तार हुआ है। रविवार को बारिश और बर्फबारी के आसार हैं, क्योंकि इससे वायरस बढ़ेगा।